अमेरिकी विशेषज्ञों के अनुसार, हाल ही में हुए मंकीपॉक्स के प्रकोप को टाला जा सकता था। मंकीपॉक्स के 63 देशों में लगभग 9,200 मामले दर्ज किए गए हैं।
यूनिवर्सिटी कैलिफोर्निया लॉस एंजिल्स (यूसीएलए) में महामारी विज्ञान के प्रोफेसर ऐनी रिमोइन के अनुसार, बंदरों का संक्रमण दशकों से अफ्रीकी देशों में रहा है, लेकिन ग्रामीण अफ्रीका से यूरोप, एशिया, ऑस्ट्रेलिया में वायरस फैलने के बाद ही यह वैश्विक रूप से फैला।
रिमोइन के हवाले से कहा गया था, यह वायरस हाशिए पर और कमजोर आबादी अफ्रीका में दशकों से फैल रहा है, और हमने इसके बारे में कुछ नहीं किया है।
उन्होंने कहा, हम जानते हैं कि मंकीपॉक्स दशकों से एक संभावित समस्या है।
मंकीपॉक्स शायद ही कभी घातक होता है और आमतौर पर इसके रोगी अस्पताल में भर्ती नहीं होते हैं।