मैं जब भी मैदान पर जाता हूं, खेल का आनंद का लेता हूं : अक्षर पटेल

भारत के स्पिनर अक्षर पटेल ने कहा कि वह मैदान पर सिर्फ खेल का आनंद लेना चाहते हैं और वह टीम के स्पिन विभाग में मुख्य भूमिका अदा न करने से भी चिंतित नहीं हैं।
उन्होंने कहा कि जब मैदान पर जाता हूं तो अच्छा प्रदर्शन करने के बारे में सोचता हूं, जिससे टीम के योगदान में मदद की जा सके।

पटेल, पहले टेस्ट के तीसरे दिन में भारत के लिए स्टार गेंदबाज थे, उन्होंने सातवीं टेस्ट पारी में पांच विकेट लिए, जिससे न्यूजीलैंड की टीम 296 रन पर ही ऑल आउट हो गई। इससे भारत को 49 रनों की महत्वपूर्ण बढ़त मिली।

इस पर पटेल ने कहा, जब भी मैं मैदान पर जाता हूं, मैं बस खेल आनंद लेता हूं। उस समय मैं नहीं सोचता कि यहां अश्विन और रवींद्र जडेजा भाई हैं, जबकि मेरे पास मुख्य भूमिका नहीं है।

जब गेंद मेरे हाथ में होती है, तो मैं अच्छा करने पर ध्यान देता हूं और पिच को समझने की कोशिश करता हूं। मैं टीम के वरिष्ठ गेंदबाजों या मुख्य भूमिका के बारे में नहीं सोचता। मैं अपनी खुद की गेंदबाजी के बारे में सोचता हूं, जिससे टीम के योगदान में मदद की जा सके।

पटेल ने आगे कहा, मैं तीसरे दिन के दूसरे और तीसरे सत्र में धैर्य से गेंदबाजी की। इसलिए, मैं क्रीज का अधिक उपयोग कर पा रहा था। आज जब भी मैंने गेंदबाजी की, तो योजना क्रीज का अच्छी तरह से उपयोग करने की थी, इससे मुझे विकेट लेने में मदद मिली।

जब भारत को विकेट नहीं मिल थे, तब उन्होंने ड्रेसिंग रूम के मूड केबारे में बताया कि 66 ओवर तक कड़ी मेहनत करने के बाद भी विकेट न मिला बहुत दुर्भाग्यपूर्ण बात है।

उन्होंने कहा, जब आप इतने ओवर करने के बाद भी विकेट नहीं ले पाते तो चीजें मुश्किल हो जाती है। आपको आश्चर्य होता है कि ऐसा क्यों हो रहा है। लेकिन ड्रेसिंग रूम शांत था, क्योंकि अज्जू भाई (अजिंक्य रहाणे) और राहुल सर हर किसी से बात कर रहे थे और परिस्थिति को सामान्य रखने की कोशिश कर रहे थे।

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