अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अपने खिलाफ महाभियोग की प्रक्रिया शुरू कराने वाले ‘व्हिसलब्लोअर’ के नाम का ट्विटर पर खुलासा कर दिया। इसके बाद लोगों की नाराजगी का शिकार हुए अमेरिकी राष्ट्रपति से उनकी ही पार्टी के नेताओं ने संयम बरतने की अपील की है। दरअसल, ट्रंप ने एक ट्वीट को रीट्वीट किया था जिसमें महाभियोग से जुड़े व्हिसलब्लोअर समझे जाने वाले सीआईए कर्मी का नाम शामिल है। ट्रंप का यह ट्वीट कानून के तहत व्हिसलब्लोअर को दी गई गोपनीयता की गारंटी का उल्लंघन करता हुआ प्रतीत होता है।
इस मामले पर ट्रंप के एक सहयोगी रिपब्लिकन सीनेटर जॉन केनेडी ने कहा, ‘यदि राष्ट्रपति थोड़ा कम ट्वीट करेंगे, तो इससे दिमाग को कोई नुकसान नहीं होगा, लेकिन राष्ट्रपति को मेरी सलाह लेने की आवश्यकता नहीं है और न ही मैं उनसे ऐसी उम्मीद करता हूं।’
19 दिसंबर को मिली थी महाभियोग को मंजूरी
19 दिसंबर को अमेरिकी संसद के निचले सदन हाउस ऑफ रिप्रेजेन्टेटिव ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के ख़िलाफ़ महाभियोग को मंज़ूरी दे दी। अमेरिकी इतिहास में ट्रंप ऐसे तीसरे राष्ट्रपति हैं जिनके खिलाफ महाभियोग को मंजूरी दी गई।
डेमोक्रेट सांसदों के बहुमत वाले अमेरिकी संसद के निचले सदन ने 197 के मुक़ाबले 230 मतों से महाभियोग को मंजूरी दे दी। अब ये मामला संसद के ऊपरी सदन सीनेट में जाएगा, हालांकि यहां रिपब्लिकन सांसद बहुमत में हैं। ऐसे में इस बात की संभावना बहुत कम है कि राष्ट्रपति ट्रंप को उनके पद से हटाया जा सकेगा।
बता दें कि महाभियोग पर देरी के लिए ट्रंप संसद के निचले सदन प्रतिनिधि सभा की अध्यक्ष नैंसी पेलोसी पर भी हमला बोल चुके है। ट्रंप का दावा है कि पेलोसी महाभियोग के लिए उन पर लगाए गए आरोपों को सीनेट को भेजने में देरी कर रही हैं, जिससे रिपब्लिकन पार्टी के बहुमत वाले उच्च सदन सीनेट में इसकी सुनवाई में देरी होने की आशंका है।