गेहूं की कटाई के समय मजदूरों की कमी बड़ी समस्या

नई दिल्ली – रबी सीजन की सबसे प्रमुख फसल गेहूं की कटाई इस समय देशभर में चल रही है, मगर जोर नहीं पकड़ रही है, क्योंकि देशव्यापी लॉकडाउन के चलते मजदूरों का अभाव होने के कारण किसानों को बड़ी समस्या से दो-चार होना पड़ रहा है।

कृषि वैज्ञानिक बताते हैं कि किसानों के लिए सबसे राहत की बात यह है कि इस बार अप्रैल में अब तक ज्यादा गर्मी नहीं पड़ी है, जिससे रबी फसलों की कटाई लंबे समय तक चल सकती है।

मध्यप्रदेश में गेहूं की कटाई अंतिम चरण में है, लेकिन उत्तर प्रदेश, पंजाब, हरियाणा और राजस्थान समेत देश के अन्य प्रमुख गेहूं उत्पादक राज्यों में गेहूं की कटाई अभी जोर नहीं पकड़ पा रही है।

कोरोनावायरस के प्रकोप से बचने के लिए देशभर में 25 मार्च से ही 21 दिनों का संपूर्ण लॉकडाउन लगा दिया गया है, जिससे बिहार और पूर्वी उत्तर प्रदेश से कटाई के मकसद से पंजाब, हरियाणा, राजस्थान और पश्चिमी उत्तर प्रदेश आने मजदूर इस बार नहीं आ पाए हैं।

एक अधिकारी ने बताया कि मशीन चलाने के लिए भी मजदूर की जरूरत होती है, इसलिए बड़े किसानों को तो दिक्कत आएगी, लेकिन छोटे किसानों को ज्यादा कठिनाई नहीं आएगी।

उधर, बिहार से इस साल कटाई के लिए मजदूरों का पलायन ज्यादा नहीं होने से गेहूं समेत अन्य रबी फसलों की कटाई में कोई खास दिक्कत नहीं आ रही है।

उन्होंने कहा कि लॉकडाउन की वजह से रबी फसलों की कटाई व तैयारी में कोई कठिनाई नहीं आ रही है।

हर साल देशभर में एक अप्रैल से गेहूं की सरकारी खरीद शुरू होती है, लेकिन इस साल कोरोना के कहर के चलते देश में कहीं भी गेहूं की सरकारी खरीद शुरू नहीं हो पाई है।

कुछ राज्यों से मिली जानकारी के अनुसार, लॉकडाउन समाप्त होने पर 15 अप्रैल के बाद ही गेहूं की सरकारी खरीद शुरू हो पाएगी।

पंजाब के खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति व उपभोक्ता मामले विभाग के मंत्री भारत भूषण आशु ने हाल ही में आईएएनएस से खास बातचीत में कहा कि इस बात गेहूं की खरीद का सीजन लंबा चलेगा और किसानों से उनकी पूरी फसल सरकार खरीदेगी। उधर, कृषि वैज्ञानिकों की माने तो कटाई का सीजन भी इस साल लंबा चल सकता है।

हरियाणा के करनाल स्थित भारतीय गेहूं एवं जौ अनुसंधान संस्थान के निदेशक ज्ञानेंद्र प्रताप सिंह कहते हैं कि गर्मी ज्यादा नहीं पड़ने से अगर कटाई का सीजन लंबा चलता है तो कोई नुकसान नहीं होगा।

उन्होंने कहा कि देश में इस साल गेहूं की बंपर पैदावार होने की उम्मीद है।

बता दें कि केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय द्वारा इस साल फरवरी में जारी दूसरे अग्रिम उत्पादन अनुमान के अनुसार, देश में इस साल गेहूं का उत्पादन 10.62 करोड़ टन हो सकता है।

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