कहां लापता हो रहे हैं अमेरिका में मूल निवासी? नहीं सुलझ रही ये रहस्यमयी गुत्थी

दुनियाभर में मानवाधिकारों का दम भरने वाले अमेरिका के अपने मूल निवासी (नैटिव अमेरिकन) दशकों से उत्पीड़न का शिकार होते रहे हैं. उनकी दुर्दशा का आलम यह है कि समुदाय के हजारों लोग पिछले कुछ वर्षों में लापता हो चुके हैं या उनकी हत्या कर दी गई है, लेकिन उनकी सुध लेने वाला तक कोई नहीं है.

योलांदा फ्रेजर छोटे-से शहर मोंटाना में सड़क किनारे बने एक स्मारक पर फूट-फूट कर रो रही हैं जहां उनकी 18 वर्षीय पोती केसेरा स्टॉप्स प्रीटि प्लेसेस का सड़ी-गली हालत में शव मिला था. वह एक ‘नैटिव अमेरिकन’ शहर से लापता हो गई थी. लेकिन चार साल बाद भी इसका कोई जवाब नहीं मिला है कि मूल निवासी समुदाय की युवती की हत्या किसने की. कोई संदिग्ध नहीं पकड़ा गया. कोई गिरफ्तारी नहीं की गई.

फ्रेजर की तरह कई परिवार बने शिकार
फ्रेजर का दुख हर मूल निवासी परिवार की दास्तां है जिनके प्रियजन लापता हो गए हैं, लेकिन आज तक उनका कोई सुराग नहीं मिला है. फ्रेजर ने कहा, ‘‘मेरा भतीजा विक्टर, मेरा भतीजा डेन फिशर, मेरी करीबी रिश्तेदार क्रिस्टी रोज वुडनथाइ और भी न जाने कितने लोग. मूल निवासी और अन्य लोगों की जिंदगियों में फर्क है….लेकिन हमारी आवाज बुलंद हो रही है.’’

निराशा जता रहे अमेरिकी अफसर
अमेरिकी अधिकारी इन असुलझे मामलों पर निराशा जताते हैं जिन्हें आलोचक नस्लीय अन्याय बताते हैं. नैटिव अमेरिकियों के साथ जुल्म का इतिहास रहा है, जिसमें अमेरिकी सेना द्वारा उनका नरसंहार, नैटिव अमेरिकी समुदाय के बच्चों को जबरन बोर्डिंग स्कूल भेजना और कई जनजातियों को उनकी पारंपरिक जमीन से हटाना शामिल है.

लापता और मृत लोगों की सूची लगाई
हाल में कई पीड़ित परिवारों ने फ्रेजर के साथ मिलकर हार्डिन शहर के बाहर ‘इंटरस्टेट 90’ पर एक बिलबोर्ड लगाया जिसमें मूल निवासी समुदाय के करीब 48 लापता और मृत लोगों के नाम हैं. पुलिस द्वारा पीछा किए जाने पर एक कार दुर्घटना में 17 वर्षीय बेटे को खोने वाले ब्लॉसम ओल्ड बुल ने कहा, ‘‘जब हम विभाजित थे तो हम इतने मजबूत नहीं थे लेकिन जब हम एकजुट हैं तो हम शक्तिशाली हैं.’’

इसे शेयर करें

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *