कतर में भारत के आठ पूर्व नौसिकों को मौत की सजा सुनाए जाने के मामले में भारत सरकार एक्शन में आई है. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने जानकारी दी है कि इस सवंदेनशील मामले में भारत की ओर से अपील फाइल की गई है और भारतीय अफसर कतर में अधिकारियों से संपर्क में हैं.
विदेश मंत्रालय ने प्रेस ब्रीफिंग में बताया कि जजमेंट गोपनीय है. ये लीगल टीम के साथ साझा की गई है. साथ ही भारत ने अपील दाखिल कर दी है. हम कतर के अधिकारियों के साथ संपर्क में है और उनके परिवार के साथ भी संपर्क में है. विदेश मंत्री ने भी उनके साथ मुलाकात की थी. 7 नवंबर को काउंसलर एक्सिस मिला और हम उन आठ भारतीयों से मिले हैं. ये मामला बहुत ही संवेदनशील है उस इस पर ज्यादा कयास न लगाए जाएं.
कौन हैं वे 8 भारतीय?
कैप्टन नवतेज सिंह गिल, कैप्टन सौरभ वशिष्ठ, कमांडर पूरेनेंदु तिवारी, कैप्टन बीरेंद्र कुमार वर्मा, कमांडर सुगुनाकर पकाला, कमांडर संजीव गुप्ता, कमांडर अमित नागपाल और नाविक रागेश कतर जेल में बंद हैं, जिन्हें मौत की सजा सुनाई गई है. वे सभी दहरा ग्लोबल टेक्नोलॉजीज एंड कंसल्टेंसी सर्विसेज में काम कर रहे थे, जो एक ओमानी नागरिक, रॉयल ओमानी वायु सेना के सेवानिवृत्त स्क्वाड्रन लीडर के स्वामित्व वाली एक रक्षा सेवा प्रदाता कंपनी है.